जमशेदपुर : जमशेदपुर के गोविंदपुर स्थित स्टील स्ट्रिप्स व्हील्स लिमिटेड में कार्यरत लगभग 1100 ठेका श्रमिक के हित में यूथ इंटक के राष्ट्रीय सचिव राजीव पांडेय ने 7 सूत्री मांग पत्र प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन एंव श्रम आयुक्त झारखंड और मुख्य कारखाना निरीक्षक झारखंड को सौंपा. राजीव पांडेय ने मांग की है कि कोविड-19 के तहत लॉक डाउन अवधि में मार्च एवं अप्रैल महीने बकाया वेतन का भुगतान कराये, ओवरटाइम का डबल भुगतान कराया जाये, साप्ताहिक तथा वार्षिक छुट्टी का पैसा का भी भुगतान कराने की जाये, ग्रेच्युटी योजना का भी लाभ दिलाये, पूरे महीने में 26 दिन ड्यूटी करने के बाद भी इपीएफ और इएसआइ में 12-14 दिन दर्शाया जाता है, जिसको दूर करने का आदेश जारी किया जाये. इसके अलावा इन लोगों ने मांग की है कि फाइनल सेटलमेंट भी नियमतः लागू कराया जाये, गेट पास में कंपनी का पूरा नाम, पता एवं संपर्क सूत्र अंकित कराया जाये, ऐसी मांगें की गयी है. यूथ इंटक के राष्ट्रीय सचिव राजीव पांडेय ने कहा कि देशव्यापी आपदा के दौरान सभी ठेका कर्मचारी आर्थिक संकट के कारण डिप्रेशन में है तथा थाली कटोरा लेकर रोड पर निकले एवं आत्महत्या करने पर विवश कोई मजदूर आत्महत्या करता है तो इसकी जवाबदेही प्लांटे हेड विनीत अग्रवाल की होगी क्योकि इनके कार्यकाल के दौरान ही मजदूरों को श्रम विधियों का खुलेआम उल्लंघन करना चरम सीमा पार किया है. इससे सभी ठेका मजदूर लॉकडाउन के दौरान सामूहिक आत्महत्या एंव आंदोलन करने पर विवश हो गया है.
राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री रघुवर दास से स्टील स्ट्रिप ह्विल्स लिमिटेड कर्मी मिले
राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री रघुवर दास ने पूर्वी सिंहभूम के उप श्रमायुक्त को पत्र लिखकर स्टील स्ट्रिप ह्विल्स लिमिटेड प्रबंधन द्वारा वहां कार्यरत कर्मियों से जबरन त्यागपत्र मांगे जाने के मामले में न्यायोचित कार्रवाई करने का आग्रह किया है. श्री दास ने कहा कि कोरोना माहामारी को लेकर पूरा देश परेशान है. केंद्र सरकार ने ऐसी स्थिति में व्यवसाइयों के लिए कई घोषणाएं की है तथा सहयोग भी कर रही है. कई कंपनियां भी अपने श्रमिकों को बगैर काम के वेतन दे रही है. ऐसी स्थिति में स्टील स्ट्रिप ह्विल्स लिमिटेड प्रबंधन द्वारा जमशेदपुर में कार्यरत कर्मचारियों को तरह-तरह प्रताडि़त करने तथा जबरन त्यागपत्र लिया जाना न्यायसंगत नहीं है. इसके पूर्व सोमवार को स्टील स्ट्रिप ह्विल्स लिमिटेड के कामगारों का एक प्रतिनिधिमंडल पंकज कुमार सिंह के नेतृत्व में पूर्व मुख्यमंत्री से मिलकर एक ज्ञापन सौंपा. इस ज्ञापन में कहा गया है कि कंपनी प्रबंधन 69 कर्मचारियों को ऐन-केन-प्रकारेण हटाना चाहती है. इसके लिए कई कर्मचारियों से जबरन त्याग पत्र लिया गया है, जिन्होंने त्याग पत्र देने से इंकार किया है, उनका वेतन व अन्य भत्ता रोका जा रहा है. ज्ञापन में कहा गया है कि कंपनी वैसे भी उत्पादन नहीं होने के नाम पर कर्मचारियों को 45 प्रतिशत ही वेतन दे रही है। ऐसी स्थिति में कर्मचारियों की सेवा समाप्त करना दुर्भाग्यपूर्ण है.