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tata-group-chairman-salary-hiked-टाटा समूह के चेयरमैन चंद्रशेखरन का वेतन इतना बढ़ाया गया, जितना कई कंपनियों का टर्नओवर होता है और किसी व्यक्ति की जिंदगी भर की कमायी भी नहीं होती, जानिये कितना हुआ वेतन बढ़ोत्तरी, टाटा समूह की एजीएम 30 अगस्त को बुलायी गयी, इन लोगों को फिर से होगी निदेशक के पद पर नियुक्ति, टाटा समूह और टाटा ट्रस्ट यह अहम बदलाव नियमों में करेगा, जानें

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मुंबई/जमशेदपुर : एक व्यक्ति अपनी जीतोड़ मेहनत की बदौलत किसी तरह अपनी जिंदगी चला पाता है. लेकिन अगर व्यक्ति अपने टैलेंट की बदौलत कंपनी में अच्छे मोकाम पर पहुंच जाये तो सैलेरी काफी ज्यादा भी हो सकता है. यह टाटा संस के चेयरमैन एन चंद्रशेखरन पर बातें फिट बैठता है. एक व्यक्ति जितना जिंदगी भर कमाने की नहीं सोच सकता है, उतनी सैलेरी में टाटा संस के चेयरमैन एन चंद्रशेखरन की बढ़ोत्तरी की गयी है. टाटा संस के शानदार वित्तीय प्रदर्शन के बाद उनकी सैलेरी में करीब 19 फीसदी की बढ़ोत्तर कर दी गयी है, जिसके बाद उनकी सैलेरी 109 करोड़ रुपये सालाना हो चुकी है. इस बढ़ोत्तरी के साथ ही एन चंद्रशेखरन सबसे ज्यादा वेतन पाने वाले अधिकारियों में शुमार हो चुके है. आपको बता दें कि श्री चंद्रशेखरन के वेतन में करीब 20 करोड़ रुपये से ज्यादा की बढ़ोत्तरी हुई है. उनका वेतन अब 109 करोड़ रुपये हो चुका है. वैसे टाटा समूह की अधिकांश कंपनियों के कर्मचारियों में 9 से 11 फीसदी की बढ़ोत्तरी की गयी है. आपको बता दें कि टाटा समूह की कंपनी ने वित्तीय वर्ष 2021-2022 में काफी बेहतर प्रदर्शन किया है. कंपनी का मुनाफा में करीब 164 फीसदी बढ़कर 17171 करोड़ रुपये हो चुका है. वित्तीय वर्ष 2020-2021 में यह 6512 करोड़ रुपये था, जो बढ़कर 17171 करोड़ रुपये हो चुका है. मुनाफा कंपनियों की दोगुना होने के कारण चेयरमैन की सैलेरी भी बढ़ चुकी है. आपको बता दें कि एन चंद्रशेखरन टाटा समूह से 1987 से जुड़े थे. वे 2007 में टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (टीसीएस) के सीओओ और साल 2009 में सीइओ बनाये गये थे. टीसीएस उनके नेतृत्व में काफी ऊंचाई पर पहुंचा. एन चंद्रशेखरन 1963 को जन्मे थे और तमिलनाडु में नमक्कर के निकट मोहानुर में एक तमिल परिवार में उनको जन्म हुआ था. वे किसान परिवार के सदस्य रहे थे. एन चंद्रशेखरन तमिल मीडियम स्कूल के स्टूडेंट रहे है. उनके अलावा टाटा समूह के चीफ फाइनांसियल ऑफिसर सौरभ अग्रवाल के भी वेतन में बढ़ोत्तरी की गयी है. चेयरमैन एन चंद्रशेखरन में 19 फीसदी की बढ़ोत्तरी के बाद चीफ फाइनांसियल ऑफिसर सौरभ अग्रवाल के वेतन में करीब 21 फीसदी की बढ़ोत्तरी की गयी है. करीब 26 करोड़ रुपये उनके वेतन में बढ़ोत्तरी की गयी है.
टाटा समूह का एजीएम में नये निदेशकों की नियुक्ति होगी, नये नियम बनाया जा सकता है, टाटा ट्रस्ट और टाटा समूह का अलग-अलग होगा व्यवस्था
टाटा समूह का एजीएम (वार्षिक आमसभा) 30 अगस्त को होने जा रहा है. 30 अगस्त को होने वाले आमसभा में कई नये नियमों को मंजूरी दी जायेगी. इस बार के एजीएम में दो निदेशकों को नये सिरे से नियुक्ति की जायेगी. अजय पिरामेल और अनिता जॉर्ज को फिर से स्वतंत्र निदेशक बनाया जायेगा. इसके अलावा भाष्कर भट्ट और वेणु श्रीनिवासन को भी निदेशक के तौर पर नियुक्त किया जा रहा है. टाटा समूह अपने नियमों में भी बदलाव करने जा रही है. टाटा समूह का संचालन सर दोराबजी टाटा ट्रस्ट और रतन टाटा ट्रस्ट करती है. इसके नियमों में बदलाव किया जा रहा है. अब यह तय किया जा रहा है कि कोई भी एक व्यक्ति एक पद को ही संभाल सकेंगे. टाटा समूह के चेयरमैन और टाटा ट्रस्ट और रतन टाटा ट्रस्ट के चेयरमैन का पद अब एक नहीं रहेगा. अब अलग-अलग चेयरमैन का पद होगा. आपको बता दें कि टाटा समूह का संचालन टाटा परिवार के टाटा ट्रस्ट के 66 फीसदी हिस्सेदारी से संचालित होती है. जेआरडी टाटा के बाद रतन टाटा ही अंतिम व्यक्ति है, जो टाटा संस के चेयरमैन के साथ साथ टाटा ट्रस्ट के चेयरमैन भी रहे है. लेकिन अब इस नियम में बदलाव किया जा रहा है. टाटा संस के चेयरमैन अलग व्यक्ति होंगे और टाटा ट्रस्ट्स के चेयरमैन अलग होगा. इसके लिए जानकारों की राय भी ली जा रही है. एजीएम में भी इस पर विस्तार से चर्चा की जायेगी.

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