जमशेदपुर : स्टील अथॉरिटी ऑफ इंडिया लिमिटेड, मैनेजमेंट ट्रेनिंग इंस्टीट्यूट (सेल, एमटीआई) ने टाटा स्टील एडवेंचर फाउंडेशन (टीएसएएफ) के साथ ’आउटबाउंड लीडरशिप एंड टीम एंड सिनर्जी बिल्डिंग एंडवर्चुअल एम्प्लॉइज एंगेजमेंट प्रोग्राम्स’ के लिए एक एमओयू पर हस्ताक्षर किया. यह एक लर्निंग व डेवलपमेंट इनिशिएटिव है. टाटा स्टील के वीपी सीएस सह टीएसएएफ के चेयरमैन चाणक्य चौधरी और सेल एचआरडी की एक्जीक्यूटिव टायरेक्टर कामाक्षी रमन ने गवाह के रूप हेड टीएसएएफ हेमंत गुप्ता, और डॉ परशुराम शॉ, (सेल के सीजीएम एचआरडी, एमटीआई) की उपस्थिति में एमओयू पर हस्ताक्षर किया. कोविड-19 महामारी के बीच सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए एमओयू हस्ताक्षर समारोह वर्चुअल रूप में आयोजित किया गया. इसमें सेल के हेड ऑफ ट्रेनिंग के डीजीएम डेज़ी एम हेम्ब्रम समेत सेल के टीम के सदस्य और एमटीआई व टीएसएएफ के वरीय अधिकारी भी शामिल हुए. अतानु मुखर्जी, (जीएम-एकैड जीएम सीएचआरडी, एमटीआई) ने एमओयू के बारे में जानकारी दी और धन्यवाद ज्ञापन किया. श्री चौधरी ने कहा कि यह एमओयू सेल और टीएसएएफ के बीच सफल सहयोग का प्रतिनिधित्व करता है. टीएसएएफ कोर्स से नेतृत्व और सहयोग के सीखे गए सबक टीमों और व्यक्तियों के अंदर उच्च प्रभाव पैदा करते हैं. हम लोग साथ मिलकर वर्चुअल कार्यक्रमों सहित सीखने और विकास के लिए प्रभावी हस्तक्षेप विकसित करने का काम जारी रखेंगे, जिन्हें कोविड-19 महामारी को देखते हुए न्यू नार्मल के कामकाजी माहौल में भी क्रियान्वित किया जा सकता है. सेल की एचआडी की एक्जीक्यूटिव डायरेक्टर सुश्री रमन ने कहा कि यह साझेदारी सेल कर्मचारियों के लिए बहुत उपयोगी और प्रभावी रही है और स्थिति सामान्य होने के बाद वे आउटबाउंड लीडरशिप प्रोग्रामों के फिर से शुरू होने का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं. इस बीच, दोनों टीमें सेल कर्मचारियों की ‘एलएंडडी’ जरूरतों को पूरा करने के लिए वर्चुअल ऑनलाइन कार्यक्रमों का उपयोग करते हुए एक साथ काम करना जारी रखेंगी. हम हमेशा अपने कर्मचारियों के लिए अभिनव नेतृत्व प्रशिक्षण विधियों को जोड़ना चाहते थे और टीएसएएफ के साथ यह साझेदारी गैर-पारंपरिक नेतृत्व प्रशिक्षण आयोजित करने में हमारे लिए और भी अधिक मददगार सबित होगी.
एमओयू का क्या है मुख्य बातें
इस एमओयू के तहत यह ’लर्निंग ऐंडडेवलपमेंट’ हस्तक्षेप सेल के सभी प्लांट्स और यूनिट्स के लिए होगा. विभिन्न स्तरों पर बदलती जरूरतों और विभिन्न नेतृत्व आवश्यकताओं को पहचानते हुए, हस्तक्षेपों को सेल की आवश्यकताओं के अनुरूप डिजाइन किया जाएगा. पर्वतारोही बछेंद्री पाल के मार्गदर्शन में एवरेस्टर्स हेमंत गुप्ता और प्रेमलता अग्रवाल समेत पेशेवर रूप से प्रशिक्षित टीएसएएफ के आउटबाउंड प्रशिक्षण विशेषज्ञ इन हस्तक्षेपों को इस आदर्श वाक्य के साथ संचालित करेंगे कि ‘कोई भी क्लासरूम प्रकृति से बेहतर नहीं है और कोई भी शिक्षक आपकी इच्छाशक्ति से बेहतर नहीं है. प्रतिभागी जंगल में रहने और ऊंचाई पर सितारों की गोद में ठहराव के दौरान नेतृत्व कौशल और मूल्यों को सीखेंगे, जो उनकी और उनके संस्थान की सेवा करेंगे. अनुभवात्मक शिक्षण कार्यक्रम आत्मविश्वास, आत्म-जागरूकता, रचनात्मकता, सहिष्णुता और अन्य नेतृत्व गुणों को बढ़ावा देने में मदद करेंगे. टीएसएएफ 2011 से सेल कर्मचारियों के लिए आउटबाउंड लर्निंग प्रोग्राम आयोजित कर रहा है. प्रोग्रामों (कार्यक्रमों) की शुरुआत अप्रैल 2011 में बोकारो स्टील के शीर्ष अधिकारियों द्वारा की गई थी, जो बर्फ की स्थिति का सामना करते हुए और सभी के लिए एक उदाहरण स्थापित करते हुए 13550 फीट पर दरवा टॉप तक गए. इसके बाद, बोकारो स्टील प्लांट, दुर्गापुर स्टील प्लांट, राउरकेला स्टील प्लांट, भिलाई स्टील प्लांट और इस्को बर्नपुर के कर्मचारी इन कार्यक्रमों में शामिल हो चुके हैं. फिर भी सेल के समूचे संयंत्रों में विभिन्न स्तरों के कर्मचारियों के लिए प्रशिक्षण आवश्यकता को केंद्रीकृत करने की आवश्यकता महसूस की गई.
tata-steel-adventure-foundation-mou-with-sail-स्टील अथॉरिटी ऑफ इंडिया और टाटा स्टील एडवेंचर फाउंडेशन के बीच एमओयू
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