जमशेदपुर : दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल जमशेदपुर पहुंचे. जमशेदपुर पहुंचने पर अरविंद केजरीवाल का भव्य स्वागत किया गया. वे पहले रांची एयरपोर्ट पर पहुंचे. इसके बाद वे बिष्टुपुर स्थित होटल में पहुंचे. उनका यहां कार्यकर्ताओं ने भव्य स्वागत किया. हालांकि, जिला प्रशासन ने आम आदमी पार्टी के नेताओं और कार्यकर्ताओं को उनसे मिलने से रोक दिया. अरविंद केजरीवाल ने यहां पार्टी के कार्यकर्ताओं में नयी जान फूंकने की कोशिश की. इस दौरान कार्यकर्ताओं ने जमकर नारेबाजी की. जिला प्रशासन के खिलाफ इन लोगों ने नारेबाजी की और हंगामा किया. इस दौरान आम आदमी पार्टी के नेता और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने किसी तरह का बयान देने से इनकार कर दिया. हालांकि, आप के नेता शंभू चौधरी ने खुद बवाल काटा और जिला पुलिस और प्रशासन को आड़े हाथों लिया. भाजपा के इशारे पर उनको रोकने का आरोप लगया.
टाटा स्टील कर्मचारी के तौर पर जमशेदपुर में काम कर चुके है अरविंद केजरीवाल, दिल्ली के मुख्यमंत्री के तौर पर वर्षों बाद हुआ आगमन
अरविंद केजरीवाल दिल्ली के मुख्यमंत्री है. वे दिल्ली में शासन कर रहे है. कुछ वर्षों में सत्ता के शिखर तक पहुंचने वाले अरविंद केजरीवाल देश से लेकर दुनिया में नाम रोशन कर चुके है, लेकिन उनके कैरियर की शुरुआत जमशेदपुर से ही शुरू हुआ है. अरविंद केजरीवाल वर्ष 1989 में टाटा स्टील में बतौर ग्रेजुएट ट्रेनी (जीटी) काम कर चुके है. करीब डेढ़ साल उन्होंने जमशेदपुर में आने के बाद ट्रेनिंग ली थी, उसके बाद उन्होंने टााटा स्टील के सीइएंडडीडी विभाग में काम करना शुनरू किया.
अरविंद केजरीवाल के साथ जमशेदपुर में टाटा स्टील में कई लोग काम कर चुके है. टाटा स्टील में वे सीइएंडीडी विभाग के मैकेनिकल सेक्शन में पर्सनल नंबर 119958, टिकट नंबर 265178 पर काम कर चुके है. उन्होंने आइआइटी खड़गपुर से मैकेनिकल इंजीनियरिंग करने के बाद टाटा स्टील में ज्वाइन किया था और उनका पहला बेसिक सैलेरी 2400 रुपये था. वे कदमा स्थित जीटी हॉस्टल वन में रहकर अपनी ट्रेनिंग की थी. इसके बाद उन्होंने 1992 तक टाटा स्टील में नौकरी करने के बाद अपनी नौकरी से ही इस्तीफा दे दिया था. इसके बाद वे इंडियन रेवेन्यू सर्विस (आइआरएस) का काम किया. अरविंद केजरीवाल के जानने वालों का कहना है कि वे लोग छुट्टियों में अपनी छुट्टी मनाते थे जबकि वे समाजसेवा करते थे और गंदी बस्तियों में काम करते थे.
इसके बाद वे दिल्ली में आइआरएस पदाधिकारी के तौर पर आयकर विभाग में काम किया और फिर उससे भी इस्तीफा देकर अन्ना हजारे के आंदोलन के रास्ते राजनीति में कदम रखकर दिल्ली के मुख्यमंत्री बन गये. अब वे नये रुप में अपने सहकर्मियों के साथ कुछ समय बिताने के लिए जमशेदपुर आये है. वे पूरे तौर पर निजी दौरे पर है.