
जमशेदपुरः झारखंड सरकार द्वारा सभी प्रखंड और पंचायतों में “आपकी सरकार आपके द्वार” कार्यक्रम संचालित कर रही है. इस अभियान और सरकार की मंशा पर गंभीर सवाल खड़े करते हुए भाजपा के पूर्व जमशेदपुर महानगर प्रवक्ता अंकित आनंद ने कड़ा एतराज जताया है. बुधवार को अंकित आनंद ने ट्वीट करते हुए जिला उपायुक्त सूरज कुमार सहित जिले के डीडीसी और जमशेदपुर प्रखंड के बीडीओ से कई गंभीर सवाल किया है. अंकित ने सरकार की ‘सेवा देने की गारंटी’ कानून के अनुपालन को भी चिंतनीय बताया. कहा कि इसी वर्ष चार महीनें पूर्व, जून और सितंबर माह के मध्य में सभी पंचायत भवनों में शिविर आयोजित कर योग्य लाभुकों से पेंशन आवेदन जमा लिये गये थें. आजतक उन आवेदनों पर कार्रवाई लंबित है, और आवेदक पेंशन की राह निहार रहे हैं. प्रखंड और अंचल स्तर पर ऐसे लंबित मामलों के आंकड़ें असंख्य है. सेवा देने की गारंटी क़ानून की भी अनुपालन सुनिश्चित नहीं होती जिससे समयबद्ध तरीके से आवेदनों का निष्पादन हो. (नीचे भी पढ़ें)
बीजेपी नेता अंकित आनंद ने सवाल किया कि एक ही काम के लिए छह महीनों के अंदर दो बार जनता के बीच शिविर आयोजित करना और पुराने मामलों का निष्पादन नहीं करना महज़ चुनावी जुमला नहीं तो फ़िर और क्या है. इससे सरकारी मशीनरी की क्षमताएं और समय दोनों ही प्रभावित हो रही है. सरकार और प्रशासन की साख बची रहे इसके लिए श्रेयस्कर होगा कि पूर्व के लंबित मामलों की समीक्षा हो और पुराने मामलों को निष्पादित करने के बाद ही जनता के बीच पहुंचकर शिविर आयोजित करनी चाहिए. जरूरतमंदों में महज उम्मीद जगाना और महीनों तक आशान्वित रखने की परिपाटी में सुधार लाने के लिए उपायुक्त सूरज कुमार सहित बीडीओ प्रवीण कुमार से आग्रह किया. बीजेपी नेता अंकित आनंद के ट्वीट के बाद जमशेदपुर प्रखंड के बीडीओ प्रवीण कुमार ने अंकित को बताया कि पिछले महीनों में आयोजित कैम्प में लगभग 5 हज़ार पेंशन आवेदनों को स्वीकृत किया गया, कई आवेदन रिजेक्ट भी हुए हैं। उन्होंने आश्वस्त किया कि आवेदक के नाम और पंचायत का विवरण साझा करने पर वे अग्रेतर जांच कर उचित समाधान सुनिश्चित करेंगे.