रांची : झारखंड स्टेट को-ऑपरेटिव बैंक के रांची स्थित मुख्यालय में कम्प्यूटर ऑपरेटरों के लॉग-इन आइडी को बन्द किये जाने का मामला तूल पकड़ लिया, जब बैंक के पांच निदेशकों ने इसे गलत कार्रवाई बताते हुए इसका विरोध किया. बैंक मुख्यालय में शुक्रवार को आन्दोलन हेतु विभिन्न जिलों से आए बैंक के कम्प्यूटर ऑपरेटर का साथ दिया, निदेशक में सुरेन्द्र यादव, सुनयना पाठक, कौशिल्या कुजूर, सुखदेव यादव, एस कर्मकार तथा झारखंड सहकारिता अध्ययन मंडल के अध्यक्ष विजय कुमार सिंह ने साथ दिया. शुक्रवार को बैंक मुख्यालय में निबंधक, सहयोग समितिया, झारखंड, रांची का वह पत्र भी उजागर हो गया, जिसमें 29 जुलाई को बैंक के मुख्य कार्यकारी अधिकारी बीके चौधरी की नियुक्ति को रिजर्व बैंक के गाइड लाइन के अनुरूप न होने पर इसका जवाब बैंक के अध्यक्ष से मांगा गया है. ज्ञातव्य है कि बैंक के सीइओ श्री चौधरी ने ही कम्प्यूटर ऑपरेटर के लॉग-इन आइडी को यह कहते हुए निष्क्रिय कर दिया कि कम्प्यूटर ऑपरेटरों से बैंक की सिक्रेसी लीक हो रही है. 9 अगस्त को प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के 24 लाख 53 हजार रुपये बैंक के कर्मचारियों का ओवरटाइम काम के भुगतान के लिए फिफ्टी-फिफ्टी पर भुगतान कर दिया गया, जबकि ये पैसे किसानों को देने थे. बैंक में हो रहे घोटाले की सूचना बाहर निकलने से बैंक के अध्यक्ष तथा मुख्य कार्यकारी अधिकारी परेशान है. बीते दो दिनों में रिजर्व बैंक के प्रतिनिधिमंडल एवं भेजफेड के एमडी के नेतृत्व में बैंक के घोटालों की जांच हेतु टीमें बैंक मुख्यालय में सक्रिय रही.