जमशेदपुर : देश के संसद का मानसून सत्र का गुरुवार को अवसान हो गया. तय अवधि से पहले ही संसद के मानसून सत्र को समाप्त कर दिया गया. बुधवार की दोपहर में ही राज्यसभा के मानसून सत्र का अवसार कर दिया गया था जबकि बुधवार की देर शाम को ही लोकसभा को अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया गया. कोरोना के कारण मानसून सत्र का अवसान पहले ही कर दिया गया. वैसे सिर्फ दस दिनों में 25 विधेयक पारित कर दिये गये, जो एक रिकॉर्ड है. वैसे इसकी कार्य उत्पादकता 167 फीसती रही है, जो सारे सत्रों से काफी अधिक रही. सदन में 2300 तारांकित प्रश्न ऐसे पूछे गये, जिसका सरकार ने जवाब दिया. वैसे कोरोना के कारण कई सांसद और मंत्री तक कोरोना पोजिटिव पाये गये जबकि कोरोना के कारण केंद्रीय राज्य मंत्री की भी बुधवार को मौत हो गयी. कुल 8029 व्यक्तियों की कोरोना टेस्ट इस दौरान किया गया, जिसमें जमशेदपुर के सांसद विद्युत वरण महतो कोरोना पोजिटिव पाये गये, जिस कारण उनको संसद के सत्र में शामिल होने नहीं दिया गया. जमशेदपुर के सांसद इस मानसून सत्र के दौरान चाहते थे कि कई सारे मामले को उठाये, लेकिन वे संसद के सत्र में शामिल नहीं हो पाये क्योंकि वे कोरोना पोजिटिव हो गये थे. उनकी तबीयत के बारे में सांसद विद्युत वरण महतो ने कहा कि उनकी तबीयत बिलकुल ठीक है. कोरोना पोजिटिव होने के कारण वे सवाल नहीं पूछ पाये, जिसका अफसोस उनको है. जनता के कई मुद्दे संसद में नहीं उठा सका. तबीयत के बारे में बताते हुए कहा कि उनकी तबीयत बिलकुल ठीक है, लेकिन दूसरा टेस्ट अब तक नहीं हो पाया है, जिसके बाद ही बाहर निकलना है या नहीं यह तय हो सकता है. जैसे ही रिपोर्ट नेगेटिव होगी, वैसे ही वे वापस जमशेदपुर लौट आयेंगे.
ये सारे सवाल जो जमशेदपुर के सांसद उठाते :
- मुसाबनी, जादूगोड़ा समेत आसपास के बंद पड़े माइंस को खोलने का मुद्दा
- सेंट्रल स्कूलों के संचालन में होने वाली दिक्कतों को दूर करना
- एयरपोर्ट को शुरू करने की पहल को तेज करने का मुद्दा
- इएसआइ अस्पताल में मजदूरों के बेहतर इलाज का मुद्दा
- फंड के अभाव में होने वाली दिक्कतों और कोरोना को लेकर जमशेदपुर में व्यवस्था को और बेहतर करने का मुद्दा