सरायकेला : सरायकेला जिले के छोटा गम्हरिया स्थित प्रखंड के इकलौते प्लस टू संपोषित उच्च विद्यालय को बचाने के लिए अब सभी राजनीतिक और सामाजिक संगठन एकजुट होने लगे हैं. 1964 में स्थापित इस स्कूल के खाली पड़े जमीन पर भू माफियाओं की नजर पड़ी और देखते ही देखते स्कूल के सारे खाली जमीनों को भू माफियाओं ने अपना बताकर ऊंची- ऊंची इमारतें खड़ी करनी शुरू कर दी. सरकार की संपत्ति होने के कारण सरकारी अधिकारी और स्कूल के प्रधानाध्यापक अपनी आंखों के आगे स्कूल की संपत्ति को लुटते देखते रहे. नतीजा आज स्कूल को बचाने के लिए राजनीतिक दीवारें तोड़ सभी दलों के प्रतिनिधियों ने स्कूल के प्रधानाध्यापक पर भू माफियाओं के खिलाफ शिकायत दर्ज कराने का दबाव बनाया. इन्होंने सभी विद्यार्थियों और अभिभावकों से मिलकर शिकायत दर्ज कराए जाने की बात कही. वहीं इस स्कूल के पहले बैच के विद्यार्थी रहे रंजीत महतो ने बताया, कि किसी जमाने में स्कूल का अपना खेल का मैदान हुआ करता था, आज स्कूल का वजूद ही अपने संघर्ष की लड़ाई लड़ रहा है, जो चिंता का विषय है. निश्चित तौर पर स्कूल की जमीन के लूट के पीछे सरकारी पदाधिकारियों की मिलीभगत से इंकार नहीं किया जा सकता. जरूरत है सरकार और जिला प्रशासन को ऐसे अधिकारियों और भू माफियाओं को चिन्हित कर सख्त से सख्त कार्रवाई किए जाने की. बहरहाल देर ही सही सरायकेला के राजनीतिज्ञों ने एकजुटता दिखाई. जरूरत है तो इसे बरकरार रखने की,और सरकारी संपत्तियों को लूटने वाले भू माफियाओं एवं सरकारी पदाधिकारियों को सबक सिखाने की.
Saraikela : भू-माफियाओं से स्कूल को बचाने को एकजुट हुए विभिन्न राजनैतिक दलों के नेता, प्रधानाध्यापक पर स्कूल की जमीन कब्जा करने वालों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराने को बनाया दबाव
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