चाईबासा : पश्चिमी सिंहभूम जिला आजसू अध्यक्ष रामलाल मुंडा ने जिले के डीडीसी संदीप बख्शी को एसटी कोटे का लाभ दिये जाने पर पुनः सवाल खड़ा किया है. रामलाल मुंडा ने पार्टी अध्यक्ष सह सिल्ली विधायक सुदेश महतो को इसकी सूचना देते हुए इस मुद्दे को विधानसभा में उठाने का आग्रह किया है. इस पर सुदेश महतो ने उन्हें सदन में यह मामला उठाने एवं इस पर चर्चा नहीं होने की स्थिति में अविश्वास प्रस्ताव लाने का आश्वासन दिया है. (नीचे भी पढ़ें)
गौरतलब है कि वर्ष 2021 में आदिवासी महासभा, मानकी मुंडा संघ, जिला जेएमएम सचिव सोना देवगम व जिला जदयू अध्यक्ष विश्राम मुंडा के साथ ही झारखंड राज्य भ्रष्टाचार उन्मूलन समिति के प्रदेश अध्यक्ष गणेश प्रसाद ने राज्य की कास्ट स्क्रूटनी कमेटी के अध्यक्ष सह आदिवासी कल्याण आयुक्त, कार्मिक विभाग के प्रधान सचिव, मुख्य सचिव को पत्र लिख कर इस मामले की शिकायत की थी. इसमें सामान्य जाति के पिता के पुत्र को एसटी सर्टिफिकेट के आधार पर एसटी कोटे की नौकरी मिलने की शिकायत की गई थी. सूत्रों के अनुसार मंझारी प्रखंड निवासी सामाजिक कार्यकर्ता नूरी कुंकल ने संदीप बख्शी वर्सेज झारखंड सरकार केस में न्यायालय की अवमानना को ले कर पिटीशन फाइल की थी, जिस पर बहस व सुनवाई भी हुई. इसके बाद कोर्ट ने कास्ट स्क्रूटनी कमेटी को 6 हफ्ते में रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया था. किन्तु बाद में आश्चर्यजनक रूप से नूरी कुंकल ने उक्त मामले से खुद को अलग कर लिया. (नीचे भी पढ़ें)
अब देखना है कि इस मामले में आजसू पार्टी जिला से राज्य तक इस मामले को कहां तक ले जाती है. रामलाल मुंडा ने इस संबंध में राज्यपाल को भी पत्र लिखा है, जिसके अलावा मुख्य सचिव, कार्मिक विभाग, आदिवासी कल्याण आयुक्त को भी पत्र की प्रतिलिपि सौंपी है. पत्र में उन्होंने कास्ट स्क्रूटनी कमेटी को भी कठघरे में खड़ा करते हुए स्क्रूटनी कमेटी पर रिटायरमेंट तक कोर्ट में रिपोर्ट जमा न करने की साठगांठ का आरोप लगाते हुए डीडीसी संदीप बख्शी का एसटी सर्टिफिकेट रद्द करने एवं उच्च न्यायालय की लगातार अवमानना किये जाने की चांच की भी मांग की है.