जमशेदपुर : राज्य के स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता भाषा विवाद को लेकर लगातार अपनी ही सरकार के खिलाफ हमलावर है. मंगलवार को उन्होंने कांग्रेस के अधिवेशन में साफ तौर पर कहा कि मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन खुद नहीं चाहते है कि कांग्रेस मजबूत हो और कांग्रेस को ही नुकसान पहुंचाने की कोशिश की जा रही है. बुधवार को मंत्री बन्ना गुप्ता ने एक बार फिर से दोहराया और कहा कि वे किसी भी हाल में इन चीजों को बरदाश्त नहीं करेंगे. देश और मातृभाषा और मां भारती के बाद ही पार्टी आती है और उसके बाद हम आते है. ऐसे में हम पहले देश और मातृभाषा और मां भारती के लिए लड़ाई लड़ेंगे. मंत्री पद जनता ने दिलाया है और जनता के हितों के लिए कुछ भी कर सकते है. जरूरत पड़ेगी तो इस्तीफा भी दे देंगे. मंगलवार को कांग्रेस के चिंतन शिविर के बाद बुधवार को भी मंत्री ने यहीं दोहराया और अपना रुख साफ कर दिया. वैसे आपको बता दें कि गुरुवार को कैबिनेट की बैठक होने वाली है. इससे पहले मुख्यमंत्री के खिलाफ हमलावर अंदाज में मंत्री बन्ना गुप्ता ने दमदार उपस्थिति दर्ज करा दी है. हालांकि, इसके राजनीतिक मायने अपने-अपने निकाले जा रहे है, लेकिन जमशेदपुर पश्चिम की जनता ने उनके इस बयान की तारीफ की है और हाथों हाथ लेते हुए वीर बन्ना तक के नारे लगा दिये गये है. इस तरह सोशल मीडिया पर वे जनता के चहेते जरूर बन गये है. वही, जमशेदपुर की आम जनता चौक चौराहों पर लगातार मंत्री बन्ना गुप्ता की तारीफ करते नजर आ रहे है. आपको बता दें कि मंगलवार को गिरीडीह में कांग्रेस के चिंतन शिविर में काफी जोरदार हमला मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन पर मंत्री बन्ना गुप्ता ने किया था. उन्होंने इसमें जिस अंदाज में मुख्यमंत्री को संबोधित किया था, उससे राजनीतिक भूचाल झारखंड में आ चुकी है. उनके संबोधन को लेकर पूरे राज्य में चर्चा हो रही है. वैसे राजनीतिक पंडितों का कहना है कि बन्ना गुप्ता ने यह बयान देकर जनता के बीच अपनी छवि को एंग्री यंग मैन और पोपुलर मैन बनाने में कामयाब रहे है जबकि सरकार में भी अपनी उपस्थिति दमदार तरीके से दर्ज करा दी है. अगर उनको मंत्री पद से हटा भी दिया जाता है तो उनको इसका राजनीतिक लाभ ही मिलने वाला है. यहीं वजह है कि इसको लेकर बन्ना गुप्ता के धूर विरोधी भी सकते में है और इसको मास्टर स्ट्रोक मानकर अंदरखाने उनके खिलाफ ही अब साजिश रचने की तैयारी कर रहे है. (नीचे देखे पूरी खबर क्या कहा बन्ना गुप्ता ने)
बन्ना गुप्ता ने क्या कहा था जानें
गिरीडीह के चिंतन शिविर में मंत्री बन्ना गुप्ता ने अपनी ही सरकार के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन पर हमला बन्ना गुप्ता ने किया था और कहा कि मुख्यमंत्री जानबूझकर कांग्रेस के वोटबैंक को ही कमजोर करने में लगे हुए है. उन्होंने भाषा के विवाद में अपना रुख साफ कर दिया और कह दिया कि जरूरत पड़ेगा तो इस्तीफा भी दे सकते है. उन्होंने सीधे मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को निशाना पर लिया. मंत्री बन्ना गुप्ता ने कहा कि पार्टी ने चिंतन शिविर बहुत व्यापक तरीके से चलाया है, हमें बौद्धिक रूप से भी ऊर्जा प्रदान किया है. सांगठनिक रूप से कैसे ज्यादा से ज्यादा मेम्बर बन सकते हैं, सरकार और पार्टी के समन्वय व गठबंधन पर भी बातचीत हुई है. कांग्रेस के चिंतन शिविर से शरीर में नई ऊर्जा आ गई है, लेकिन सभी लोग दु:खी हैं, दर्द में हैं. बन्ना गुप्ता ने कहा कि हम गठबंधन की सरकार को चला रहे हैं और इस सरकार में हमारी स्थिति ऐसी है जैसे पुराने गाना की तरह “जब मांझी ही नाव डुबोये तो उसे कौन बचाये जैसी हो गई है” जैसी है. उन्होंने कहा कि हम मंत्री बनकर घुम रहे हैं, यह अच्छा लगता है, लेकिन हम मंत्री कैसे बने, कैसे जमशेदपुर जैसे शहर से एक लाख वोट हम लेकर आ रहे हैं, यह सोचने की जरूरत है. हमें यह तय करना होगा हमारी विचारधारा व सिद्धान्त कभी कमजोर नहीं हो और राष्ट्रभाषा के साथ कभी समझौता नहीं किया जा सकता. जिस दिन राष्ट्रभाषा के साथ और मां भारती के साथ समझौता करना पड़ेगा तो मेरे जैसे लोग इस्तीफा देना उचित समझेंगे. उन्होंने कहा कि समन्वय समिति बने और इसी से हम उनको घेर सकते हैं. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री जानबूझकर कांग्रेस को ही कमजोर कर रहे है.