जमशेदपुर : टाटा स्टील की अधीकृत यूनियन टाटा वर्कर्स यूनियन के कमेटी मीटिंग में जमकर हंगामा हुआ. इस कमेटी मीटिंग में अर्से बाद यूनियन जीवित दिखी और मुद्दे पर विरोध भी हुआ. इस दौरन अध्यक्ष संजीव चौधरी टुन्नु और उनकी टीम के क्रियाक्लापों पर सवाल उठाया गया जबकि कई मुद्दों पर अध्यक्ष ने जानकारी दी. इस दौरान एकाउंट को कमेटी मेंबरों ने पारित तो नहीं किया, लेकिन अध्यक्ष ने मंच से एकाउंट को पारित करने की घोषणा कर दी. इस दौरान हंगामा की स्थिति बनी रही. पूर्व निर्धारित समय के मुताबिक, कमेटी मीटिंग यूनियन अध्यक्ष संजीव चौधरी टुन्नु की अध्यक्षता में शुरू हुई. सबसे पहले दिवंगत लोगों को श्रद्धांजलि अर्पित की गयी. इसके बाद एकाउंट को कोषाध्यक्ष आमोद दुबे ने पेश किया. इस एकाउंट के दौरान ही कमेटी मेंबर ओमप्रकाश शर्मा उर्फ बमबम ने एकाउंट में फर्जीवाड़ा को पकड़ लिया. (नीचे भी पढ़ें)
उनका साथ पूर्व सहायक सचिव सरोज सिंह ने भी दिया. एकाउंट विभाग के कमेटी मेंबर ओमप्रकाश शर्मा और ट्यूब डिवीजन के कमेटी मेंबर सरोज कुमार सिंह ने दिसंबर 2023 के अकाउंट को लेकर बहुत बड़ी त्रुटि को उजागर किया और बताया कि यह स्कैम (घोटाला) है. उन लोगों को कहना था कि दिसंबर छुट्टियों का महीना था और पुरी गेस्ट हाउस में, जो यूनियन के तरफ से दो रूम की बुकिंग होती है, उसके बारे में लगभग हर सदस्यों या सेवानिवृतकर्मियों द्वारा जब भी बुक करने का प्रयास किया गया तो वहां के स्टाफ रजत महंता द्वारा बराबर नो रूम की बात बताई गई. इसके कारण कोई भी सेवानिवृत कर्मचारी या सदस्य दिसंबर माह के लिए इसकी बुकिंग नहीं करवा पाए. (नीचे भी पढ़ें)
दिसंबर के अकाउंट में यह भी पाया गया कि एक्सपेंसेज मद में होलीडे होम के लिए उस महीने भी हर माह की तरह यूनियन द्वारा 99120 रुपए अदा किए गए, जबकि होने वाली बुकिंग से आमदनी मात्र 1070 रुपए ही हुई है. इसका मतलब हुआ कि पूरे महीने के 31 दिनों में सिर्फ एक दिन, वो भी मात्र एक ही रूम बुक हुआ था. इस पर प्रश्न उठाते हुए पूछा गया कि जो पूरे दिसंबर माह में बुकिंग फुल होने की बात यूनियन करती रही है, तो उसके एवज में प्राप्त पैसे कहां गए ? यह बुकिंग अमाउंट जो यूनियन को प्राप्त नहीं हुआ, क्या यह यूनियन के राजस्व में नुकसान नहीं है ? आखिर किस व्यक्ति ने इस दौरान गेस्ट हाउस बुक किया और पैसा नहीं जमा किया ? उसका नाम उजागर किया जाए. इन प्रश्नों के जवाब में अध्यक्ष टाटा वर्कर्स यूनियन द्वारा मामले की जांच करके अकाउंट में सुधार करने का आश्वासन दिया गया और अपील की गई की एकाउंट्स को पास किया जाए. (नीचे भी पढ़ें)
लेकिन दोनों सदस्य इस बात पर अड़े रहे कि जब तक यह सुधार नहीं होता और पैसों की रिकवरी नहीं की जाती तब तक यह अकाउंट्स पास नहीं हो सकता है. कमेटी मेंबरों की माने तो इसी आधार पर अकाउंट को पास नहीं किया गया परंतु अध्यक्ष ने अंत में अपने भाषण में अकाउंट्स को पास घोषित कर दिया. इस दौरान अध्यक्ष ने अपनी बातों को भी रखा. उन्होंने कहा कि जल्द ही ज्वाइंट कमेटी बनायी जायेगी. इसके लिए सदन से मंजूरी ली गयी. सदन ने अध्यक्ष को महामंत्री और डिप्टी प्रेसिडेंट से रायशुमारी कर जल्द ज्वाइंट कमेटी बनाने को कहा. अध्यक्ष ने कहा कि पहली भी इतने ही दिनों में कमेटी बनती रही है, लेकिन अभी दुष्प्रचार कुछ लोग कर रहे है. वहीं, इसीबीएस 2 पर भी उन्होंने बातें रखी और कहा कि यह समझौता उनके कार्यकाल का नहीं है. 2019 के सितंबर माह में यह समझौता हुआ था. इसको लागू किया गया है. अगर इसका कोई प्रतिकूल या विपरित असर पड़ रहा है तो वे इस मुद्दे पर बातचीत जरूर करेंगे.