जमशेदपुर : झारखंड कांग्रेस में जल्द ही प्रदीप कुमार बलमुचू और सुखदेव भगत की वापसी हो जायेगी. इस दिशा में कांग्रेस के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष और भाजपा से चुनाव लड़ चुके सुखदेव भगत ने अहम कदम बढ़ाया है और शुक्रवार को कांग्रेस के आला नेता और पूर्व प्रदेश अध्यक्ष डॉ अजय कुमार से जमशेदपुर में मुलाकात की है. जमशेदपुर में उनकी मुलाकात हुई है. करीब एक घंटे तक वे साथ ही रहे थे. डॉ अजय कुमार के जमशेदपुर स्थित आवास पर हुई इस मुलाकात के दौरान डॉ अजय कुमार ने सुखदेव भगत को आर्शीवाद दे दिया है. उनकी इस मुलाकात के दौरान उनके साथ कांग्रेस के नेता संजय पांडेय, टाटा वर्कर्स यूनियन के सहायक सचिव सह यूथ इंटक के राष्ट्रीय स्तर के नेता नितेश राज, कांग्रेस नेता पारितोष सिंह, यूथ इंटक के जमशेदपुर महानगर अध्यक्ष अभिनंदन सिंह, यूथ इंटक के कोषाध्यक्ष सीएसपी सिंह, टाटा वर्कर्स यूनियन के कमेटी मेंबर पुष्कर और आरके सिंह समेत अन्य लोग मौजूद थे. (नीचे पूरी खबर पढ़ें)
इस दौरान डॉ अजय कुमार का घर पहुंचने पर भव्य स्वागत सुखदेव भगत ने किया. यह मुलाकात काफी अहम इसलिए भी है क्योंकि सुखदेव भगत की इंट्री पर डॉ रामेश्वर उरांव ने ही रोक लगायी थी क्योंकि सुखदेव भगत भाजपा के टिकट से डॉ रामेश्वर उरांव के खिलाफ लोहरदगा सीट से चुनाव लड़ा था, इस कारण डॉ रामेश्वर उरांव ने उनकी वापसी को रोक दिया था जबकि प्रदीप कुमार बलमुचू का रास्ता डॉ उरांव ने साफ कर दिया था. लेकिन चूंकि, दोनों की इंट्री एक साथ होती या नहीं होती, इस बीच में दोनों लटके हुए थे. लेकिन अब कांग्रेस के झारखंड में नये निजाम के आने के बाद फिजां बदल रही है. राजेश ठाकुर नये अध्यक्ष बन चुके है जबकि कार्यकारी अध्यक्ष के तौर पर गीता कोड़ा, जलेश्वर महतो, बंधु तिर्की और शहजादा अनवर को जगह दे दी गयी है और अब नयी टीम चार्ज ले चुकी है. राजेश ठाकुर समेत उनकी पूरी टीम रांची लौटने वाली है. शनिवार को ये सारे लोग रांची आयेंगे, उसके बाद हालात और बदलेंगे, उससे पहले ही सुखदेव भगत ने कांग्रेस के नेताओं से मुलाकात की है. वैसे भी डॉ अजय कुमार राष्ट्रीय नेतृत्व के चहेते है और पार्टी के नीति निर्धारण कमेटी में उनकी जगह सुनिश्चित की गयी है. यहीं वजह है कि उनकी मुलाकात होना अहम माना जा रहा है और एक तरह से उनकी इंट्री का एक रास्ता खुलता नजर आने की चर्चा तेज हो चुकी है. हालांकि, खुद सुखदेव भगत ने कहा है कि उनकी वापसी को लेकर नहीं एक औपचारिक मुलाकात की गयी है. वे शुरू से कांग्रेसी थे और वे आज भी कांग्रेसी है. भाजपा में जाना भूल थी और उस भूल को वे सुधारना चाहते है.