जमशेदपुर : उच्चतम न्यायालय में इंकैब कंपनी के पूर्व परिसमापक शशि अग्रवाल द्वारा एनसीएलएटी के 04.06.2021 के आदेश को चुनौती देते हुए दायर अपील संख्या 2209-2210/2021 और कमला मिल्स द्वारा दायर डायरी नंबर 13239-2021 की सुनवाई न्यायाधीश नवीन सिन्हा एवं न्यायाधीश संजीव खन्ना की अदालत में हुई. अदालत ने शुरुआत में अपील करने वाले कमला मिल्स और शशि अग्रवाल के अधिवक्ताओं को बता दिया कि एनसीएलएटी का 04.06.2021 का आदेश उनके मुताबिक पूरी तरह से तार्किक है परंतु चूंकि अपीलकर्ताओं ने वैधानिक अपील दायर किया है. अतः यह अदालत उनके कतिपय शिकायतों को सुनेगी. कमला मिल्स के तरफ से वरीय अधिवक्ता मुकुल रोहतगी ने कहा कि लेनदारों की समिति में उनका 80 फीसदी शेयर है. अतः एनसीएलएटी का यह आदेश सही नहीं है कि लेनदारों कि समिति में कमला मिल्स को शामिल नहीं किया जाये. इस पर जमशेदपुर के कर्मचारियों के अधिवक्ता ने आपत्ति करते हुए अदालत को बताया कि लेनदारों कि समिति में केवल स्टेट बैंक को ही रहने का अधिकार है प्राईवेट कंपनियों को नहीं. सभी अधिवक्ताओं को सुनने के बाद अदालत ने जमशेदपुर और कोलकाता के कर्मचारियों को अपना-अपना हलफनामा तीन सप्ताह के भीतर फाइल करने का आदेश दिया तथा अपील करने वाले शशि अग्रवाल और कमला मिल्स को तीन सप्ताह के भीतर प्रत्युत्तर देने को कहा. जमशेदपुर के कर्मचारियों की ओर से अधिवक्ता अखिलेश श्रीवास्तव, अवनीश सिन्हा, संजीव महंती, पीएस चन्द्रलेखा और आकाश शर्मा ने हिस्सा लिया. कोलकाता के कर्मचारियों के तरफ से ऋषभ बनर्जी और शशि अग्रवाल की तरफ से वरीय अधिवक्ता केवी विश्वनाथन ने कार्यवाही में हिस्सा लिया.
incab-industries-hearing-in-supreme-court-सुप्रीम कोर्ट में केबुल कंपनी के निवेशकों के मामले को लेकर हुई सुनवाई, जमशेदपुर और कोलकाता के कर्मचारियों को तीन सप्ताह में हलफनामा दायर करने का आदेश
[metaslider id=15963 cssclass=””]