रांची : झारखंड में कोरोना का कहर जारी है. लगातार केस बढ़ने के साथ ही झारखंड में नये वेरिएंट ओमिक्रॉन के बारे में भी मालूम चला है. ओड़िशा के भुवनेश्वर स्थित आइएलएस लैब में जीनोम सीक्वेंसिंग के लिए कुल 87 सैंपल भेजे गये थे. इन सारे सैंपल की रिपोर्ट आ चुकी है. इसमें 14 लोगों में ओमिक्रॉन वेरिएंट पाये गये है. इसकी पुष्टि स्वास्थ्य विभाग ने की है. इसके अलावा शेष अन्य 32 में पुराना डेल्टा वेरिएंट पाये गये है जबकि 41 में वेरिएंट ऑफ कंसर्न पाये गये है. इन 87 सैंपल में रांची, जमशेदपुर और धनबाद समेत अन्य जिलों के सैंपल थे, जिसको जीनोम सीक्वेंसिंग के लिए भेजा गया है, जहां ओमिक्रॉन के वेरिएंट पाये जाने की सूचना है. इसको लेकर बाद में स्वास्थ्य विभाग अपनी ओर से संवाददाता सम्मेलन कर जानकारी दी जा सकती है. यह पहली बार झारखंड में सामने आया है कि ओमिक्रॉन के वेरिएंट पाये गये है. इसके बाद स्वास्थ्य विभाग सतर्क है. वैसे ही सैंपल रिपोर्ट नहीं आने के पहले भी यह मानकर चला जा रहा था कि ओमिक्रॉन से ही लोग संक्रमित हो रहे है. चूंकि, झारखंड में जीनोम सीक्वेंसिंग की सुविधा नहीं है, इस कारण इसकी रिपोर्ट नहीं सामने आयी है. ओमिक्रॉन के कारण ही तेजी से केस बढ़ रहा है क्योंकि यह संक्रमण काफी रफ्तार से फैलाता है, लेकिन इसको पूरे तौर पर जानलेवा नहीं माना जाता है. लेकिन यह भी है कि अगर किसी को ब्लड प्रेसर, सुगर, हार्ट, लीवर की बीमारी पहले से है तो यह जानलेवा बन जाता है.